भारत के सबसे भारी और सबसे उन्नत उपग्रह जीएसएटी-11 ( GSAT- 11) का हाल ही में फ्रेंच गुयाना में कोउरो में गुयाना स्पेस सेंटर से लॉन्च किया गया।
जीएसएटी -11 को इसरो का सबसे भारी उपग्रह बताया गया है जिसका वजन लगभग 5854 किलोग्राम है।फ्रेंच गुयाना से एरियान-5 लॉन्च वाहन से इसे लॉन्च किया गया।
इसरो के अनुसार उपग्रह को प्रारंभ में भू-समकालिक स्थानांतरण कक्षा में रखा जाएगा और बाद में इसे जियोस्टेशनरी कक्षा में बढ़ा दिया जाएगा।
जीएसएटी-11 इसरो की नई श्रृंखला के उच्च-थ्रूपुट संचार उपग्रह (एचटीएस) का हिस्सा है जो देश के इंटरनेट ब्रॉडबैंड का विस्तार अंतरिक्ष से भारत के सुदूर क्षेत्रों तक ले जाएगा।इसरो के मुताबिक, जीएसएटी-11 के मल्टीप्ल स्पॉट बीम कवरेज भारतीय क्षेत्र और आसपास के द्वीपों पर 16 gbps की एक बेहतर सेवा प्रदान करेंगे। उपग्रह में वीएसएटी टर्मिनल भी होंगे जो मूल रूप से यह सुनिश्चित करेगा कि यह एक बड़े ग्राहक आधार को संभाल सके।
इसरो के अनुसार, यह भारतीय मुख्य भूमि या द्वीपों में कहीं भी 15 वर्ष के समय में 14 गीगाबिट की वॉइस और वीडियो ब्रॉडबैंड सेवाएं प्रदान करेगा।
जीएसएटी -11 घरों, व्यवसायों और सार्वजनिक संगठनों में मोबाइल और इंटरनेट की बढ़ती मांग को पूरा करने की क्षमता को और अधिक गति और क्षमता (16 जीबीपीएस) को लाएगा।
ग्रामीण इलाकों के बड़े हिस्से आज भी वाणिज्यिक दूरसंचार के दायरे से छूटे रहते हैं। डिजिटल इंडिया की भारतनेट परियोजना के तहत जीएसएटी-11 ग्रामीण भारत के अधिकांश क्षेत्र में आवाज और वीडियो स्ट्रीमिंग तक पहुंच को बढ़ावा देगा।